पहेलियाँ

रचनाकार टीकेश्वर सिन्हा ' गब्दीवाला'

1.
न किसी भाषा का रस,
न हीं फलों का रस.
कौन सा रस, कर रहा है,
दुनिया को तहस-नहस.

2.
आसमान पर उड़ता जाए,
ऊपर-नीचे दाएँ-बाएँ.
श्यामल वर्ण मनमोहक,
धरती पर जल बरसाए.

3.
एक रासायनिक गैस जिसे,
सूँघने पर हँसी आती.
नाम इसका बतालाये जो,
होशियार बच्चा कहलाये वो.

4.
जून माह का तारीख एक,
प्रथम सप्ताह में रहता.
पर्यावरण सुरक्षा की बात,
हर कोई जरूर कहता.

5.
तीन अक्षरों का मेरा नाम,
प्रथम कटे तो मैं हाथी.
मध्य कटे तो बनूँ काम,
अंत कटे तो मैं कौआ साथी.

उत्तर :--- 1. कोरोना वायरस 2. बादल 3. नाइट्रस आक्साइड 4. पाँच जून 5. कागज.

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